NEET-UG Exam: गुजरात के पंचमहल जिले के गोधरा में आयोजित NEET परीक्षा में बड़ी धांधली का खुलासा हुआ है। एक स्कूल शिक्षक और दो अन्य के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। आरोप है कि NEET-UG कॉम्पिटिटिव एग्जाम में बैठने वाले छह कैंडिडेट से 10 लाख रुपए लेकर उनके पेपर हल करने का वादा किया गया था। इस पूरे सिंडिकेट का खुलासा जिला कलेक्टर की निगरानी में हुआ। 

वॉट्सऐप चैट से पूरे मामले का भंडाफोड़
मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन के लिए बीते रविवार, 5 मई को आयोजित एनईईटी-यूजी परीक्षा में गड़बड़ी की सूचना पहले ही जिला कलेक्टर को मिल गई थी। कलेक्टर ने जिला शिक्षाधिकारी को इसकी जानकारी दी और गोधरा के जय जलाराम स्कूल पहुंचने का निर्देश दिया। शिक्षाधिकारी ने स्कूल पहुंचकर जांच की। डेप्युटी सेंटर सुपरिटेंडेंट (केंद्र उपाधीक्षक) के मोबाइल को खंगाला गया तो उनके वॉट्सऐप चैट से पूरे मामले का भंडाफोड़ हुआ। 

मैसेज में मिले 16 कैंडिडेट के रोल नंबर
जानकारी के अनुसार, फिजिक्स के टीचर तुषार भट्ट केंद्र के उपाधीक्षक थे। उनके वॉट्सऐप चैट में कुछ परीक्षार्थियों के नाम थे। उनके मोबाइल नंबर भी लिखे हुए थे। यह मैसेज परशुराम रॉय नाम के शख्स ने भेजे थे। मैसेज में कुल 16 नाम थे, जिनमें से कुछ के सामने क्रॉस का निशान लगा था। तुषार से पूछताछ की गई तो उन्होंने कबूल किया कि रॉय के साथ डील हुई थी। परीक्षार्थियों को पास करवाने के लिए 10 लाख रुपए में सौदा हुआ था। 

पुलिस ने बताया कि भट्ट की कार से 7 लाख रुपये नकद बरामद किए गए, जो आरिफ वोरा ने एक कैंडिडेट को मेरिट सूची में लाने में मदद करने के लिए अग्रिम राशि के रूप में दिया था।

टीचर और कैंडिडेट के बीच यह हुई थी डील
पुलिस का कहना है कि नीट अभ्यर्थियों और आरोपियों के बीच डील हुई थी कि जिन प्रश्नों के जवाब पता हैं, उन्हें सॉल्व कर दिए जाएं, बाकी को खाली छोड़ देना है। बाद में जब कॉपियां इकट्ठा होती तो टीचर उन प्रश्नों को हल कर देंगे। 

जिला शिक्षा अधिकारी किरीट पटेल की शिकायत पर गोधरा तालुका पुलिस स्टेशन में केस दर्ज कराया गया है। आरोपी तुषार भट्ट जय जलाराम स्कूल में शिक्षक के रूप में कार्यरत हैं और उन्हें शहर में एनईईटी के लिए उप केंद्र अधीक्षक नियुक्त किया गया था।

किरीट पटेल ने बताया कि आरोपी शिक्षक का मोबाइल फोन, नकदी और उस कार को जब्त कर लिया जहां से नकदी बरामद की गई थी और जिला कलेक्टर को एक रिपोर्ट सौंपी। जिन्होंने बाद में प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया। तीनों आरोपियों पर आपराधिक विश्वासघात, धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश का मामला दर्ज किया गया है। अधिकारी ने कहा, मामले में आगे की जांच जारी है।