Income Tax Bill 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार (13 फरवरी) को नया इनकम टैक्स बिल 2025 (Income Tax Bill 2025) संसद में पेश किया। इसमें कर आंकलन और गत वित्तीय वर्ष जैसी कई टर्मिनोलॉजी बदलकर सरल और सहज बनाने का प्रयास किया गया है। कुछ गैरजरूरी प्रावधान भी हटाए गए हैं। 

622 पेज वाले नया इनकम टैक्स बिल में 536 धाराएं, 23 अध्याय और 16 अनुसूचियां हैं। इसमें कोई नया टैक्स नहीं है, बल्कि मौजूदा आयकर अधिनियम-1961 की भाषा को सरल और सहज बनाया गया है। जानिए  इनकम टैक्स बिल 2025 की 10 बड़ी बातें। 

Income Tax Bill 2025 की 10 बड़ी बातें

  • टैक्स अधिनियम की भाषा
    इनकम टैक्स 2025 बिल की भाषा सरल कर कुछ कानूनी प्रावधान हटाए गए हैं। इससे न सिर्फ करदाताओं, बल्कि आयकर विभाग को भी फायदा होगा। आयकर सलाहकर एसपी सिंह ने बताया कि बिल में इस्तेमाल की गई भाषा मौजूदा अधिनियमों की तुलना में काफी सरल है। आमजन भी इसे आसानी से समझ सकेगा।
  • नए टैक्स स्लैब

आय सीमा (Income Range)

टैक्स दर (Tax Rate)
₹4 लाख तक कोई टैक्स नहीं
₹4 लाख 1 - ₹8 लाख 5% टैक्स 
₹8 लाख 1 - ₹12 लाख 10% टैक्स
₹12 लाख 1 - ₹16 लाख 15% टैक्स
₹16 लाख 1 - ₹20 लाख 20% टैक्स
  • Tax Year का नया कॉन्सेप्ट 
    टैक्स फाइलिंग करते समय अभी असेसमेंट ईयर (Assessment Year) और पिछला वित्तीय वर्ष (Previous Year) इस्तेमाल किया जाता था। इससे कई बार भ्रम की स्थिति बन जाती थी। नए बिल के अनुसार इसकी जगह Tax Year लिखा जाएगा।  
  • स्टैंडर्ड डिडक्शन 
    पुरानी टैक्स रिजीम में 50 हजार का स्टैंडर्ड डिडक्शन जारी रहेगा। जबकि, नई टैक्स रिजीम में स्टैंडर्ड डिडक्शन 75 हजार तक मिलेगा।  
  • CBDT को मिले नए अधिकार
    सीबीडीटी यानी Central Board of Direct Taxes को टैक्स स्कीम्स लागू करने के लिए अब संसद से मंजूरी नहीं लेनी पड़ेगी। इससे टैक्स योजनाओं के क्रियान्वयन में तेजी आएगी। 
  • कैपिटल गेन टैक्स की दरें 
    कैपिटल गेन टैक्स की दरों में कोई बदलाव नहीं किया गया। शॉर्ट टर्म यानी 12 महीने तक तक 20% और लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन यानी 12 माह से अधिक समय पर 12.5% टैक्स लागू रहेगा।
  • पेंशन, NPS और इंश्योरेंस पर टैक्स छूट 
    पेंशन, NPS और बीमा (Insurance) पर टैक्स डिडक्शन पहले की तरह जारी रहेगा। रिटायरमेंट फंड, ग्रेच्युटी, पीएफ (PF) और ELSS म्यूचुअल फंड पर भी टैक्स छूट पूर्ववत रहेगी। 
  • टैक्स चोरी पर सजा और जुर्माना
    टैक्स चोरी पर कार्रवाई थोड़ा सख्त हो सकती है। मुकदमा दर्ज करने के साथ अधिक ब्याज दर वसूला जाएगा। अपनी आय छिपाने पर अकाउंट भी सीज किया जा सकता है। साथ ही गलत या अधूरी जानकारी देने पर जुर्माना वसूला जाएगा। 
  • टैक्स भुगतान के लिए E-KYC अनिवार्य
    आयकर अधिनियम 2025 में टैक्स सिस्टम को पूरी तरह पारदर्शी और डिजिटल बनाने की योजना है। E-KYC और E-Filing की व्यवस्था अनिवार्य होगी। इससे टैक्स फाइलिंग प्रक्रिया में तेज आएगी। पहले की अपेक्षा यह सुरक्षित भी होगी। 
  • एग्रीकल्चर और दान पर टैक्स छूट
    आयकर अधिनियम 2025 में भी कृषि आय को कुछ शर्तों के साथ टैक्स फ्री रखा गया है। धार्मिक ट्रस्ट, संस्थाएं और दान पर भी टैक्स छूट जारी रहेगी। इलेक्ट्रोरल ट्रस्ट को भी टैक्स छूट का फायदा मिलेगा।