Unified Pension Scheme: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने केंद्र सरकार के यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) को लेकर तीखा हमला बोला है। खड़गे ने रविवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'X' पर पोस्ट करते हुए कहा कि UPS में 'U' का मतलब मोदी सरकार का यू-टर्न है। उन्होंने यह भी कहा कि लोकसभा चुनाव के परिणाम के बाद, जनता की ताकत ने प्रधानमंत्री के अहंकार पर काबू पाया है।
हम देश की जनता के लिए लड़ते रहेंगे
खड़गे ने अपने पोस्ट में कहा कि सरकार ने पहले बजट में लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन/इंडेक्सेशन का निर्णय वापस लिया था। इसके बाद ब्रॉडकास्टिंग बिल और UPSC में उच्च पदों पर लैटरल एंट्री के फैसले को भी वापस लिया गया। खड़गे ने कहा कि हम सरकार की जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं और 140 करोड़ भारतीयों की सुरक्षा के लिए लड़ते रहेंगे।
UPS और NPS में चुनना होगा एक पेंशन प्लान
शनिवार को केंद्रीय सरकार ने नई पेंशन स्कीम (NPS) के स्थान पर यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) लाने की घोषणा की। यह योजना 1 अप्रैल 2025 से लागू होगी, जिससे 23 लाख केंद्रीय कर्मचारियों को फायदा होगा। UPS के तहत कर्मचारियों को निश्चित पेंशन की गारंटी दी गई है, जो NPS में बाजार के आधार पर तय होती थी।
UPS पर AAP का बयान
AAP नेता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि बीजेपी अब अपने फैसलों पर पुनर्विचार कर रही है। उन्होंने दावा किया कि जल्द ही अग्निवीर योजना जैसे अन्य फैसले भी वापस लिए जाएंगे। भारद्वाज ने यह भी कहा कि विपक्ष की बात अब सही साबित हो रही है और केंद्र सरकार अपने कर्मचारियों को दबा रही थी।
कांग्रेस और शिवसेना के आरोप
कांग्रेस नेता राशिद अल्वी ने कहा कि सरकार जो काम पहले करना चाहिए था, वह अब दबाव में कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार को पेंशन के मामले में फैसला लेना चाहिए और कर्मचारियों को उनकी पूरी वेतन (सेवानिवृत्ति से पहले) मिलनी चाहिए। शिवसेना (उद्धव गुट) के नेता आनंद दुबे ने कहा कि विपक्ष के दबाव के चलते सरकार UPS लाई है।
जानें, UPS और NPS में क्या है अंतर
पूर्व कैबिनेट सचिव टी वी सोमनाथन ने UPS और NPS के बीच का अंतर बताते हुए कहा कि UPS पूरी तरह से एक कॉन्ट्रिब्यूटरी फंडेड स्कीम है, जिसमें कर्मचारियों को 10% का योगदान देना होगा। जबकि पुरानी पेंशन योजना (OPS) एक अनफंडेड स्कीम थी, जिसमें कर्मचारियों को कोई योगदान नहीं करना पड़ता था। लेकिन UPS में NPS की तरह बाजार आधारित नहीं है, बल्कि यह निश्चित पेंशन की गारंटी देता है।