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Wedding Fraud in Uttar Pradesh: बलिया में सामूहिक विवाह समारोह का आयोजन 25 जनवरी को हुआ। अधिकारियों का दावा है कि इस दौरान करीब 568 जोड़ों का विवाह हुआ।

Wedding Fraud Uttar Pradesh: उत्तर प्रदेश के बलिया जिले में फर्जी सामूहिक विवाह (Wedding Fraud) के मामले पर्दाफाश हुआ है। इस फर्जी विवाह समारोह का एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल है। जिसमें बड़ी संख्या में शादी के लिए आई लड़कियां (वधु) अपने आप को वरमाला पहनाती और लड़के (वर) खुद चेहरा छिपाते नजर आ रहे हैं। फर्जीवाड़े में सरकारी अधिकारियों की मिलीभगत सामने आई है। पुलिस ने इस मामले में 15 लोगों को गिरफ्तार किया है। इनमें दो सरकारी अफसर शामिल हैं। 

कार्यक्रम में लगभग 568 जोड़ों की फर्जी शादी
जानकारी के मुताबिक, सामूहिक विवाह समारोह का आयोजन 25 जनवरी को हुआ था। अधिकारियों का दावा है कि इस दौरान करीब 568 जोड़ों का विवाह हुआ। वीडियो वायरल होने के बाद पड़ताल हुई तो पता चला कि कई जोड़ों को दूल्हा और दुल्हन बनने के लिए आयोजकों की ओर से पैसे बांटे गए।

दुल्हनों ने खुद डाली वरमाला, दर्शक को दूल्हा बनाया  
बलिया के स्थानीय लोगों का कहना है कि सामूहिक विवाह समारोह में बतौर दूल्हा-दुल्हन शामिल होने के लिए उन्हें 500 से ​​2,000 तक रुपयों का लालच दिया गया। समारोह में कुछ महिलाएं ऐसी भी थीं, जिनके पास कोई नहीं था। ऐसे में उन्होंने खुद ही अपने गले में वरमाला पहन ली। समारोह देखने गए एक लड़के राजकुमार ने एनडीटीवी रिपोर्टर से कहा कि मैं वहां खड़ा था तो मुझे दूल्हा बनने के लिए रुपए ऑफर किए गए। कई लोगों को ऐसे ही बैठाया जा रहा था। 

बीजेपी विधायक केतकी सिंह समारोह में पहुंचे
फर्जीवाड़े को लेकर सुर्खियों में आए इस मास वेडिंग में बीजेपी विधायक केतकी सिंह बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए। उन्होंने कहा कि स्थानीय अधिकारियों ने मुझे विवाह समारोह से 2 दिन पहले ही आमंत्रण दिया था। दूसरी ओर, अधिकारियों ने कहा कि सभी लाभार्थियों के वेरिफिकेशन के लिए 3 सदस्यीय समिति बनाई गई है। जांच पूरी होने तक लाभार्थियों को कोई पैसा ट्रांसफर नहीं किया जाएगा। 

विवाह योजना में सरकार देती है 51 हजार मदद 
यूपी की सरकारी वेबसाइट से मिली जानकारी के अनुसार, योगी सरकार सामूहिक विवाह योजना में 51 हजार रुपए देती है, इसमें से 35 हजार रु. वधु को मिलते हैं, जबकि 10 हजार रु. से शादी का सामान खरीदा जाता है। बाकी 6,000 रुपए कार्यक्रम की व्यवस्था पर खर्च किए जाते हैं।

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