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सुकमा जिले के प्रभारी मंत्री ने बंडा से कन्हैयगुड़ा तक सड़क निर्माण में गड़बड़ी पर संज्ञान लिया है। उनके निर्देश पर विभागीय अधिकारियों ने मौके पर जाकर जायजा लिया। 

सुकमा। छत्तीसगढ़ में भाजपा की विष्णुदेव साय सरकार अपने सुशासन का एक वर्ष पूर्ण कर चुकी है। वहीं बस्तर संभाग के दूर दराज गांवों को भी विकास के मुख्यधारा से जोड़ने का प्रयत्न सरकार कर रही है। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के माध्यम से गांवों को शहरों से जोड़ने के लिए सड़कों के निर्माण में भारी तेजी आई है। वहीं सुकमा के प्रभारी मंत्री केदार कश्यप के समक्ष बंडा और कन्हैयागुड़ा तक सड़क निर्माण में भ्रष्टाचार और निर्माण कार्य में लापरवाही की शिकायत पहुंची। जिस पर उन्होंने त्वरित संज्ञान लेते हुए विभागीय अधिकारियों को फटकार लगाई और सड़क का अवलोकन निरीक्षण करने का निर्देश दिया।

प्रभारी मंत्री के निर्देश पर ठेकेदार पर हो सकती है कार्रवाई

गौरतलब है कि, कोंटा विकासखंड के बंडा से कन्हैयगुड़ा की दो किमी. लंबी सड़क का निर्माण करवाया गया था। सड़क निर्माण कार्य को हरी झंडी 2021-22 में दी गई थी, लेकिन 2024 में कार्य शुरू हुआ और मार्च में खत्म हुआ। आठ माह बीतने से पहले ही अब सड़क की हालत जर्जर हो चुकी है। सड़क की लागत 1.37 करोड़ थी लेकिन ठेकेदार ने 1.60 करोड़ में सड़क निर्माण का कार्य लिया। मिली जानकारी के अनुसार सड़क निर्माण में ठेकेदार को अब तक 1 करोड़ की राशि भुगतान किया जा चुका है।

लापरवाही बर्दाश्त नहीं, सरकार को बदनाम करने वाला कृत्य क्षम्य नहीं : केदार

वनमंत्री केदार कश्यप ने कहा कि, अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा है कि ग्रामीण सड़कों  निगरानी ठीक से करें। धरातल पर योजनाओं का क्या हाल है, ग्रामीणों को इसका कितना लाभ मिला है प्रशासनिक अधिकारी भौतिक रूप से इसकी जानकारी ले कर प्रदान करें। उन्होंने कहा कि सरकार जनकल्याण की भावना से कार्य कर रही है। जो भी अधिकारी या ठेकेदार शासन को बदनाम करने की नियत से कार्य करेगा। उन पर शख्त कार्रवाई की जाएगी।

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