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संयुक्त किसान मोर्चा एवं किसान मजदूर मोर्चा ने सरकार के खिलाफ 7 अप्रैल को विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी। साथ ही 9 अप्रैल को शम्भू बॉर्डर पर रेलवे ट्रैक जाम करने का ऐलान किया। किसानों के अंदर सरकार के खिलाफ रोष बढ़ता जा रहा है।

Haryana: संयुक्त किसान मोर्चा एवं किसान मजदूर मोर्चा ने चंडीगढ़ स्थित किसान भवन में सात अप्रैल को सरकार के खिलाफ प्रदर्शन की चेतावनी दी, जिसमें जिलेवार भी प्रदर्शन किए जाएंगे। इसके साथ ही 9 अप्रैल को शम्भू बॉर्डर पर रेलवे ट्रैक को जाम किया जाएगा, जिसकी जिम्मेदारी स्वयं सरकार की होगी। किसान नेता मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे, जिसमें जगजीत सिंह डल्लेवाल, सरवन सिंह पंधेर, लखविंदर सिंह औलख, अमरजीत सिंह मोहड़ी सहित अन्य किसान नेता मौजूद रहे।

13 फरवरी से बॉर्डर पर लगाए हुए हैं पक्के मोर्चे

किसान नेताओं ने कहा कि 13 फरवरी से शम्भू, खनौरी, डबवाली और रतनपुरा बॉर्डर पर किसानों के मोर्चे लगे हुए हैं। सरकार ने हालिया समय में कई मंडियों को खत्म कर गेहूं की फसल सीधे साइलो में लेकर जाने का आदेश जारी किया, जो पिछले दरवाजे से 3 कृषि कानूनों को दोबारा लागू करने के समान है। 10 फरवरी से हरियाणा में सैकड़ों किसानों को गिरफ्तार किया गया, जिनमें से 5 किसान नेता अभी भी जेल में हैं। अभी रविंदर सिंह (13 फरवरी से जींद जेल), अमरजीत सिंह (13 फरवरी से जींद जेल), अनीश खटकड़ (19 मार्च से जींद जेल), नवदीप सिंह और गुरकीरत सिंह (28 मार्च से अम्बाला पुलिस की कस्टडी) में हैं।

किसानों को परेशान करने के लिए बाधित की जा रही बिजली

किसान नेताओं ने बताया कि सभी बार्डरों पर किसानों को परेशान करने के लिए बिजली व्यवस्था को जानबूझकर बाधित किया जा रहा है, जिससे किसानों को अनेक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। दोनों मोर्चों ने फैसला लिया कि मंडियों को बचाने के लिए, जेल में बंद किसानों की रिहाई एवं किसानी मोर्चों पर बिजली की उचित व्यवस्था के लिए  सात अप्रैल को देशभर में जिला स्तर पर बड़े जुलूस निकालकर भाजपा के खिलाफ प्रदर्शन किया जाएगा। यदि सरकार ने उसके बाद भी किसानों की इन बातों को नहीं माना तो 9 अप्रैल को शम्भू बॉर्डर पर रेलवे ट्रैक को जाम किया जाएगा और उसके बाद आगामी दिनों में रेल रोकने के स्थान बढ़ाए जा सकते हैं।

किसान शुभकरण की 3 अप्रैल को कर्नाटक में होगी श्रद्धांजलि सभा

किसान नेताओं ने बताया कि किसान आंदोलन के दौरान मारे गए युवा शुभकरण की 22 मार्च को हरियाणा के हिसार में, 27 मार्च को राजस्थान के हनुमानगढ़ में, 31 मार्च को हरियाणा के अम्बाला में श्रद्धांजलि सभाएं आयोजित की गई। अब 3 अप्रैल को कर्नाटक के मैसूर में, 11 अप्रैल को उड़ीसा में और उसके बाद उत्तर प्रदेश में भी श्रद्धांजलि सभा आयोजित होंगी। शंभू बॉर्डर से एक प्रतिनिधिमंडल शुभकरण सिंह का अस्थि कलश लेकर वाया दिल्ली से चेन्नई के लिए रवाना हुआ, वहां से तमिलनाडु, केरल और पॉन्डिचेरी में ये यात्रा दक्षिण भारत के किसान संगठनों द्वारा निकाली जाएगी।

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