Farmers March to Delhi: पंजाब-हरियाणा सीमा पर किसानों और पुलिस के बीच शुक्रवार को भारी तनाव देखने को मिला था। न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की कानूनी गारंटी और अन्य मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे किसानों को हरियाणा पुलिस ने शंभु बॉर्डर पर रोकने के लिए आंसू गैस के गोले दागे। इसके बाद किसानों ने शुक्रवार को दिल्ली की ओर अपना पैदल मार्च स्थगित कर दिया।
सरकार से बातचीत के लिए दी मोहलत, 8 दिसंबर को फिर होगा मार्च
किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि केंद्र सरकार से बातचीत के लिए किसानों ने शनिवार तक का समय दिया है। अगर सरकार कोई पहल नहीं करती है, तो 8 दिसंबर को दोपहर 12 बजे 101 किसानों का जत्था दिल्ली की ओर शांतिपूर्ण मार्च करेगा। उन्होंने कहा, 'हम टकराव नहीं चाहते, हम अपनी मांगों को लेकर शांतिपूर्ण रहेंगे।'
घायल किसान पटियाला रेफर, इंटरनेट सेवाएं बंद
हरियाणा पुलिस द्वारा आंसू गैस के गोले दागे जाने से करीब 8 किसान घायल हो गए। इनमें से एक गंभीर रूप से घायल किसान को इलाज के लिए पटियाला रेफर किया गया है। इसके अलावा, अंबाला जिले के 11 गांवों में मोबाइल इंटरनेट और बल्क SMS सेवाओं पर रोक लगा दी गई है।
किसानों की क्या है मांगें
- फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की कानूनी गारंटी।
- किसानों और खेत मजदूरों के लिए कर्ज माफी और पेंशन।
- बिजली दरों में बढ़ोतरी पर रोक।
- लखीमपुर खीरी हिंसा के पीड़ितों और 2020-21 के आंदोलन में मारे गए किसानों के परिवारों को न्याय और मुआवजा।
- भूमि अधिग्रहण अधिनियम 2013 को बहाल करना।
#WATCH | At the Shambhu border, farmer leader Sarwan Singh Pandher says, "Why are farmers being treated with brutality?... Taking cognisance of the whole situation, tomorrow at noon, a group of 101 will depart for Delhi. Our hunger strike has entered its 12th day... Our group… pic.twitter.com/4FqpLU8cEU
— ANI (@ANI) December 7, 2024
हरियाणा पुलिस का कड़ा रुख
हरियाणा पुलिस ने शंभु बॉर्डर पर सुरक्षा कड़ी कर दी है। दिल्ली पुलिस ने भी दिल्ली सीमा पर बल तैनात कर दिए हैं। अधिकारियों ने कहा है कि किसानों ने इस प्रदर्शन के लिए पूर्व अनुमति नहीं ली थी, जबकि किसानों का दावा है कि उन्होंने संबंधित अधिकारियों को पहले ही सूचित कर दिया था। यह इस साल किसानों का तीसरा प्रयास है, जब वे दिल्ली की ओर कूच कर रहे हैं। इससे पहले 13 फरवरी और 21 फरवरी को भी किसानों ने राष्ट्रीय राजधानी की ओर मार्च किया था, लेकिन उन्हें पंजाब-हरियाणा सीमा पर रोक दिया गया था। इन प्रयासों में पुलिस और किसानों के बीच हिंसक झड़पें हुई थीं।
अगर सरकार बातचीत नहीं करती, तो डालेंगे डेरा
दिल्ली पुलिस ने सिंघु बॉर्डर पर सुरक्षा बल तैनात कर दिए हैं और किसी भी स्थिति से निपटने की तैयारी कर ली है। अधिकारियों ने कहा है कि दिल्ली की कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए हर संभव कदम उठाए जाएंगे। इसी के साथ ही किसानों ने ऐलान किया है कि अगर सरकार बातचीत नहीं करती, तो प्रदर्शनकारी किसान अपनी मांगों को लेकर राष्ट्रीय राजधानी में डेरा डालने की रणनीति बना सकते हैं।
ये भी पढ़ें: दिल्ली में किसानों का 101 जत्था पहुंचने को तैयार, 8 डीएसपी सहित 14 कंपनियां तैनात