Bhopal News: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में रविवार (18 नवंबर) को हंगामा हो गया। नगर निगम के 'हाउसिंग फॉर ऑल प्रोजेक्ट' में हो रही लेटलतीफी से परेशान हितग्राहियों ने बवाल काट दिया। प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री का पोस्टर लेकर हितग्राहियों ने ISBT निगम ऑफिस का घेराव कर जमकर नारेबाजी की। प्रदर्शनकारी ऑफिस के अंदर घुसने लगे तो पुलिस ने रोक दिया। गुस्साए लोग गेट के सामने ही धरने पर बैठे गए। विरोध बढ़ता देख निगम कमिश्नर हरेंद्र नारायण मौके पर पहुंचे तो लोगों ने उन्हें घेर लिया। कमिश्नर ने लोगों को समझाया और कहा कि जल्द ही सभी को मकान दिए जाएंगे।
वर्षों से चल रहे प्रोजेक्ट अभी तक अधूरे
जानकारी के मुताबिक, नगर निगम के गंगानगर, 12 नंबर, भानपुर समेत कई जगहों प्रोजेक्ट चल रहे हैं। पीएम आवास योजना के तहत मकान बन रहे हैं, लेकिन काम में लेटलतीफी आम लोगों पर भारी पड़ रही है। लोगों ने इस उम्मीद में फ्लैट्स या सिग्लेक्स मकान बुक कराए थे कि उन्हें जल्दी पजेशन मिल जाएगा, लेकिन कई जगहों पर प्रोजेक्ट को सालों बीत चुके हैं। बावजूद लोगों का अपने घर का सपना पूरा नहीं हो रहा है।
बच्चों को लेकर प्रदर्शन करने पहुंचीं महिलाएं
प्रोजेक्ट में हो रही देरी से परेशान सैकड़ों हितग्राहियों ने सोमवार को मोर्चा खोल दिया। ISBT निगम ऑफिस का घेराव कर जमकर विरोध प्रदर्शन किया। महिलाएं भी नन्हें बच्चों को साथ प्रदर्शन करने पहुंची गईं। प्रदर्शन को बढ़ता देख निगम कमिश्नर मौके पर पहुंचे। कमिश्नर ने लोगों को समझाया और कहा कि जल्द ही सभी को मकान दिए जाएंगे।
दफ्तरों के काट रहे चक्कर, नहीं सुनते अधिकारी
विरोध का रहे लोगों का कहना है कि सालों से अगल-अलग दफ्तरों में अधिकारियों के चक्कर लगा रहे हैं लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही। लोगों ने कहा कि मल्टी बनाने के काम की चाल बहुत ही धीमी है। यदि यही रफ्तार रही तो घर मिलने में वर्षों लग जाएंगे। नगर निगम कार्यालय में जवाबदार मोबाइल पर कॉल रिसीव नहीं करते। यदि रिसीव कर भी लें तो सही जवाब नहीं देते। मकान के किराए के साथ बैंक की किश्त भी भरनी पड़ रही है। जिससे आर्थिक स्थिति गड़बड़ा गई है।
दिवाली पर घर देने का वादा नहीं हुआ पूरा
लोगों ने यह भी कहा कि नगर निगम ने दिवाली पर घर देने का वादा किया था, जो पूरा नहीं हुआ। अब तक न तो बिल्डिंग बनकर तैयार हुई है और न ही बिजली लाइन बिछी है। चारों ओर गंदगी है। मलबा पड़ा है। विरोध प्रदर्शन के दौरान निगम कमिश्नर हरेंद्र नारायण जैसे ही ऑफिस पहुंचे तो एक व्यक्ति उनके कदमों में गिरकर रोने लगा। उसने कमिश्नर से कहा कि सालों से भटक रहा हूं, मकान नहीं मिला। मुझे मकान दे दो। वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने व्यक्ति को संभाला।