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Pulse Polio Abhiyan 2024 : सरकार का पल्स पोलियो अभियान आगामी 23 जून को चलाया जाएगा। प्रदेशभर में काम करने वाले मजदूरों के बच्चों व घुमंतू आबादी के बच्चों को दवा पिलाने के लिए मोबाइल टीम भी पहुंचेगी। इसके साथ ही बाहर आने जाने वाले परिवारों के 5 साल तक बच्चों को दवा पिलाई जाएगी।

Pulse Polio Abhiyan 2024 : मध्य प्रदेश में सरकार का पल्स पोलियो अभियान 23 जून, रविवार को चलाया जाएगा। प्रदेशभर में निर्माणाधीन इमारतों, ईंट भट्टे, क्रेशर पर काम करने वाले मजदूरों के बच्चों व घुमंतू आबादी के बच्चों को दवा पिलाने के लिए मोबाइल टीम भी बनाई गई है। जिले से बाहर जाने वाले और आने वाले 5 साल तक के हर बच्चे को दवा पिलाने के लिए रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड व नाकों पर पोलियो की खुराक पिलाने वाली टीम तैनात रहेगी।

3 हजार से अधिक बूथ बनाए गए
जानकारी के अनुसार राजधानी भोपाल लगभग साढ़े तीन लाख बच्चों को दवा पिलाई जाएगी। बच्चों को नजदीकी पोलियो बूथ पर दवा पिलाने पर विशेष जोर रहेगा। इसके लिए 3 हजार से अधिक बूथ बनाए गए हैं। आशा कार्यकर्ताओं और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अपने अपने क्षेत्रों में 5 साल तक के बच्चों को केंद्रों पर खुराक पिलायेंगी।

पोलियो के लक्ष्ण
पोलियोमाइलाइट्स रोग का पर्यायवाची शब्द पोलियो है, जोकि एक वायरल बीमारी है और मुख्यतौर पर यह 5 साल तक के बच्चों को प्रभावित करती है। इसे एक वायरस के तौर पर भी देखा जाता है कि यह बीमारी यह मल-गुदा मार्ग से और दूषित पानी या भोजन से फैलता है। पोलियो के शुरुआती लक्षणों को लेकर विशेषज्ञों द्वारा बताया जाता है कि बुखार, थकान, सिरदर्द, उल्टी, गर्दन में अकड़न और अंगों में दर्द होना इसकी शुरुआत मानी जाती है।

लाइलाज बीमारी है पोलियो
पोलियो का कोई इलाज नहीं है, इसे केवल टीकाकरण से ही रोका जा सकता है। भारत सरकार द्वारा पिछले कई सालों से अभियान चलाते हुए इस बीमारी को रोके जाने का प्रयास किया जा रहा है। जानकारी के अनुसार भारत दुनिया का पहला देश था जिसने अपने टीकाकरण कार्यक्रम में फ्रैक्शनल-डोज़ इनएक्टिवेटेड पोलियो वायरस वैक्सीन पेश किया। देश में 2 अक्टूबर 1995 को पल्स पोलियो टीकाकरण कार्यक्रम की शुरूआत की गई, जो निरंतर जारी है। 

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