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राजस्थान सरकार ने महिलाओं के लिए बड़ा ऐलान किया है। जिसमें कहा कि खाद्य विभाग ने करीब तीन वर्षों से बंद साइट पर खाद्य सुरक्षा सूची में वंचितों के नाम जोड़ने के लिए पोर्टल को ओपेन कर दिया है।

Rajasthan News: राजस्थान में पिछले 3 सालों से खाद्य सुरक्षा सूची की साइट बंद कर दी गई थी। जिसकी वजह से नवविवाहिताओं को इसका लाभ नहीं मिल पाया। अब सरकार ने इस पर ध्यान देते हुए पोर्टल को खोल दिया है। जिससे अब विवाहित महिलाएं अपने ससुराल में नाम जुड़वा सकें। इसके लिए शर्त है कि मायके से नाम कटा होना चाहिए।

राजस्थान सरकार ने महिलाओं के लिए बड़ा ऐलान किया है। जिसमें कहा कि खाद्य विभाग ने करीब तीन वर्षों से बंद साइट पर खाद्य सुरक्षा सूची में वंचितों के नाम जोड़ने के लिए पोर्टल को ओपेन कर दिया है। जिसमें  केवल विवाहित महिलाओं के नाम ही जोड़े जा रहे हैं, इसका लाभ सिर्फ उन्ही महिलाओं को मिलेगा जिनका नाम मायके की खाद्य सुरक्षा सूची में जुड़ा था।

लाखों लोगों को मिलेगा लाभ
खाद्य विभाग की सूची में नाम जुड़वाने के लिए सबसे पहले महिलाओं को मायके के खाद्य सुरक्षा सूची से नाम कटवाना अनिवार्य है। प्रदेश के अंदर लाखों की तादात में ऐसे लोग हैं, जो इस योजना से वंचित रह गए हैं। कुछ लोग तो खाद्य सुरक्षा सूची में नाम जुड़वाने के लिए काफी से कभी ई-मित्र केन्द्रों पर और उपखण्ड अधिकारी कार्यालयों के चक्कर काट रहे हैं, फिर भी उनका नाम सूची में नहीं जुड़ पाया।

मायके से नाम कटवाने वाले को ही मिलेगा लाभ
हालांकि इस योजना के लाभार्थी ज्यादातर ऐसे हैं, जिन्होंने अभी तक मायके की सूची से नाम नहीं हटवाया है। अगर वे नाम नहीं कटाते हैं, तो इस योजना के लाभ से वंचित रह पाएंगे। खाद्य विभाग के अधिकारियों के मुताबिक ज्यादातर अभ्यर्थी अपना नाम एक जगह से नहीं कटवा पाए थे, इस वजह से सरकार ने एनएफएसए की साइट को बंद कर रखी थी।

योजना का लाभ लेने के लिए यह जरूरी 
इस योजना का लाभ लेने के लिए आयु 18 या उससे अधिक होनी चाहिए। साथ ही महिला का नाम मायके एवं ससुराल के राशनकार्ड के नंबर भी होने चाहिए। इस योजना के बंद होने से उन लोगों को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ। जिनकी 3 साल के अंदर शादी हुई है। खाद्य विभाग के उपायुक्त एवं पदेन उपशासन सचिव खाद्य सुरक्षा आशीष कुमार ने इस आदेश को जारी किया है।

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