Congress MP Rakesh Rathore: उत्तर प्रदेश के सीतापुर से कांग्रेस सांसद राकेश राठौर की मुश्किलें बढ़ गई हैं। एक महिला ने उनके खिलाफ दुष्कर्म का केस दर्ज कराया है। सीतापुर स्पेशल कोर्ट ने गुरुवर (23 जनवरी) को उनकी जमानत याचिका भी निरस्त कर दी। महिला के वकील ने बताया कि सांसद के बेटे समझौते का दबाव बना रहे हैं। 

सांसद के वकील ने दिया तर्क 

  • सीतापुर एमपी/एमएलए कोर्ट के विशेष लोक अभियोजन राकेश तोगड़िया ने बताया कि कांग्रेस सांसद के खिलाफ दुष्कर्म का केस दर्ज हुआ है। कोर्ट ने उनकी अग्रिम ज़मानत याचिका निरस्त कर दी है। सांसद के वकील अरविंद मसलदान ने बताया कि दोनों के बीच जो संबंध बने, उनमें दोनों की सहमति थी। ऐसे में दुष्कर्म का केस बनता ही नहीं है। 
  • वकील ने घटना को राजनीतिक साजिश करार देते हुए कहा, एफआईआर में घटना दिन और सही उम्र तक का जिक्र नहीं है। बताया कि दुष्कर्म मामले में अंतरिम जमानत मिल सकती है. सांसद राठौर को भी राहत मिलनी चाहिए थी। 

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समझौते के लिए बनाया जा रहा दबाव 
पीड़िता के वकील शैलेंद्र मिश्र बडकऊ ने कहा, सांसद महत्वपूर्ण पद है, उनकी सहमति से ही संविधान संशोधन होते हैं। सांसद के बेटे और उनके सहयोगी समझौते का दबाव बना रहे हैं। सोशल मीडिया पर पीड़िता व उसके परिवार को बदनाम करने की कोशिश की जा रही है। ऐसे में उन्हें जमानत देना बिल्कुल भी उचित नहीं है।  

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पीड़िता ने सांसद पर लगाए यह आरोप 

  • पीड़िता ने पुलिस को बताया कि राकेश राठौर से उनकी पहली मुलाकात 2018 में हुई थी। उस समय वह विधायक थे। राकेश राठौर ने पीड़िता को राजनीतिक भागीदारी का लालच देकर उसका शारीरिक शोषण किया। सांसद निर्वाचित होने के बाद राकेश राठौर ने अपने प्रभाव का उपयोग कर महिला को तैलिक महासंघ सीतापुर का अध्यक्ष बनवा दिया।  
  • शिकायत के मुताबिक सांसद ने 2020 में पीड़िता को घर बुलाकर उसके साथ दुष्कर्म किया था। पीड़िता ने विरोध किया तो राजनीतिक धौंस दिखाकर शांत करा दिया। इसके बाद पीड़िता राजीतिक पद और प्रतिष्ठा दिलाने का लालच देने लगे। साथ ही पत्नी को तलाक देकर उससे शादी करने का आश्वासन दिया। 
  • शिकायत के मुताबिक 24 अगस्त को राकेश राठौर ने पीड़िता को घर बुलाकर सादे कागजों में उसके साइन करा लिए। कहा, अब तुम मेरी रखैल बनकर रहोगी नहीं तो मैं तुम्हें बदनाम कर दूंगा।