Donald Trump Policy Impact:अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के नए फैसलों ने अमेरिका में रहने वाले भारतीयों के लिए मुश्किलें खड़ी हो गई। जन्मजात नागरिकता खत्म करने और H1-B वीजा पर सख्त नियम लागू करने का सीधा असर भारतीय प्रवासियों पर पड़ेगा। ट्रम्प के इस कदम से न केवल भारतीय बच्चों को अमेरिकी नागरिकता से वंचित किया जाएगा, बल्कि योग्य पेशेवरों के लिए अमेरिका में नौकरी पाना भी कठिन हो सकता है। इन फैसलों से अमेरिका में बसे भारतीय लोगों की चिंता बढ़ गई है।

धमाकेदार फैसलों से ट्रंप का आगाज
डोनाल्ड ट्रम्प ने अमेरिकी राष्ट्रपति के रूप में अपने दूसरे कार्यकाल की शुरुआत धमाकेदार फैसलों से की। शपथ लेने के महज 6 घंटे के भीतर उन्होंने जो बाइडेन के 78 नीतिगत फैसलों को पलट दिया। इन फैसलों में अवैध प्रवासियों को देश से बाहर निकालने और जन्मजात नागरिकता खत्म करने जैसे कड़े आदेश शामिल हैं। इस आदेश के बाद अब 18 हजार से ज्यादा भारतीयों को अमेरिका छोड़ने के लिए मजबूर होना पड़ेगा। इसके अलावा, ट्रंप ने अमेरिका को WHO और पेरिस जलवायु समझौते से बाहर निकालने की भी घोषणा की। इन फैसलों से अमेरिका की नीतियों में व्यापक बदलाव की शुरुआत हो चुकी है। ट्रम्प ने कहा कि यह कदम अमेरिकी नागरिकों की सुरक्षा और आर्थिक स्थिरता के लिए जरूरी थे।

क्या है अमेरिका में नागरिकता का नया नियम?
ट्रम्प ने अपने कार्यकाल के पहले दिन ही जन्मजात नागरिकता (Birth Right Citizenship) खत्म करने का ऐलान कर दिया। यह कानून 150 सालों से अमेरिकी संविधान के तहत लागू था। अब केवल उन्हीं बच्चों को नागरिकता दी जाएगी, जिनके माता-पिता अमेरिकी नागरिक या ग्रीन कार्ड धारक होंगे। ट्रम्प के इस फैसले का मुख्य उद्देश्य अवैध प्रवासियों और बर्थ टूरिज्म को रोकना है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यह आदेश 30 दिनों बाद लागू होगा और इसका असर भारतीय समुदाय की आने वाली पीढ़ी पर भी पड़ेगा। प्यू रिसर्च सेंटर के अनुसार, 2022 में 16 लाख भारतीय बच्चों ने इस कानून के तहत नागरिकता पाई थी।

H1-B वीजा को लेकर ट्रंप ने क्या कहा?
ट्रम्प ने H1-B वीजा (H1-B Visa) को लेकर अपनी नई रणनीति का खुलासा किया। उन्होंने कहा कि अमेरिका को केवल 'काबिल और योग्य' लोगों की जरूरत है। प्रेस कॉन्फ्रेंस में ट्रम्प ने बताया कि यह वीजा केवल तकनीकी और पेशेवर क्षेत्रों तक सीमित नहीं होगा, बल्कि अन्य क्षेत्रों जैसे वेटर, वाइन एक्सपर्ट और होटल स्टाफ के लिए भी लागू होगा। उन्होंने यह भी जोड़ा कि गुणवत्तापूर्ण विदेशी पेशेवरों की एंट्री से अमेरिकी व्यवसायों का विस्तार होगा। हालांकि, इस नीति का ट्रम्प के समर्थकों में मिलाजुला असर देखने को मिला है।

अवैध प्रवासियों के एंट्री पर रोक
ट्रम्प ने अवैध प्रवासियों के खिलाफ कड़ी नीति अपनाते हुए उनकी एंट्री पर रोक लगाने के आदेश दिए हैं। अमेरिका के दक्षिणी बॉर्डर पर सुरक्षा और कड़ी कर दी गई है। साथ ही, उन लोगों पर भी नजर रखी जाएगी जो अस्थायी वीजा लेकर अमेरिका में रह रहे हैं। ट्रम्प का कहना है कि अवैध प्रवासियों की मौजूदगी अमेरिकी नागरिकों के लिए आर्थिक और सामाजिक खतरा है। उन्होंने यह भी कहा कि इन कदमों से देश में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।

इमिग्रेशन नीतियां बदलने का भी होगा असर
ट्रंप प्रशासन की प्रवास नीति में बदलाव होने की संभावना है, जो भारतीय पेशेवरों और छात्रों के लिए अमेरिका में अवसरों को सीमित कर सकती है। इससे भारतीयों के लिए अमेरिका में बसने और काम करने की संभावनाएँ कम हो सकती हैं।अगर ट्रंप की इन सभी नीतियों पर गौर करें तो यह अमेरिका में रहने वाले या अमेरिका जाने की इच्छा रखने वाले भारतीयों के लिहाज से नहीं है। ट्रंप की वापसी से अमेरिकी-भारतीय संबंधों में जटिलताएं बढ़ सकती हैं। इससे भारतीय समुदाय के लिए मुश्किलें पैदा हो सकती हैं।