Supreme Court decision on NEET: डॉक्टर बनने की चाहत रखने वाले विद्यार्थियों के लिए अच्छी खबर है। सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (NEET) को लेकर बड़ा फैसला दिया है। कोर्ट ने स्पष्ट किया है कि माध्यमिक शिक्षा बोर्ड और राज्य शिक्षा बोर्ड से मान्यता प्राप्त ओपन स्कूल को छात्र भी नीट में शामिल हो सकेंगे। बशर्ते इसके लिए अन्य शर्तें पूरी करते हों।
सुप्रीम कोर्ट का छात्रों के हित में फैसला
मेडिकल काउन्सिल के नियमों का हवाला देकर अभी ओपन स्कूल के छात्रों को नीट परीक्षा के लिए अपात्र कर दिया जाता था। इस प्रावधान को दिल्ली हाईकोर्ट ने 2018 में असंवैधानिक करार कर दिया था। जिसके खिलाफ एमएमसी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। जिस पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने छात्रहित में फैसला सुनाया है।
हाईकोर्ट ने माना था संवैधानिक लोकाचार
जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस चंदर शेखर की बेंच ने 2018 में सुनाए फैसले में कहा था कि मेडिकल काउन्सिल इस धारणा को आगे बढ़ा रही है कि वित्तीय कठिनाई और सामाजिक कारणों से नियमित स्कूल न जा पाने वाले छात्र कम योग्य और असफल होते हैं। बेंच ने आदेश में कहा था कि इस तरह की धारणा संवैधानिक लोकाचार के खिलाफ हैं, दृढ़ता से खारिज करना चाहिए।
कोर्ट का आदेश
सुप्रीम कोर्ट में मेडिकल एजुकेशन बोर्ड द्वारा संबोधित पत्र और सार्वजनिक सूचना की जानकारी वकील ने जस्टिस पीएस नरसिंहा व जस्टिस अरविन्द सिंह की बेंच के समक्ष रखी। कोर्ट ने तर्क सुनने के बाद आदेशित किया कि सीबीएसई और राज्य शिक्षा बोर्डों द्वारा मान्यता प्राप्त Open School को नीट परीक्षा लेने के लिए NMC मान्यता दे।