Rajya Sabha Proceeding: राज्यसभा में बुधवार को विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे (Mallikarjun Kharge) ने केंद्रीय बजट 2024-25 की निंदा की। सदन में विपक्ष के नेता खड़गे ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) पर तंज कसा। उन्होंने आरोप लगाया कि बजट केवल बिहार और आंध्र प्रदेश को छोड़कर सभी राज्यों के लिए भेदभावपूर्ण है।
धनखड़ और खड़गे में भी हुई नोंकझोंक
खड़गे ने कहा कि इस बजट में केरल, कर्नाटक और तमिलनाडु जैसे राज्यों को कुछ नहीं दिया गया है। यह बस कुर्सी बचाने के लिए पेश किया गया बजट है। इस दौरान जब राज्यसभा के चेयरमैन जगदीप धनखड़ ने कहा कि जरा वित्त मंत्री को सुन लीजिए वह क्या कहना चाहती हैं। इस पर खड़गे ने कहा, 'माताजी बोलने में बड़ी एक्सपर्ट हैं, मुझे मालूम है।' इस पर धनखड़ ने टाेकते हुए कहा कि वह माताजी नहीं बल्कि आपकी बेटी की उम्र की हैं।
#WATCH | Before the Opposition walked out of Rajya Sabha over 'discriminatory' Budget, LoP Rajya Sabha Mallikarjun Kharge said, "...Yeh kursi bachane ke liye yeh sab hua hai...We will condemn it and protest against it. All INDIA alliance parties will protest...How will… pic.twitter.com/i00BsjXuhL
— ANI (@ANI) July 24, 2024
वित्त मंत्री ने भेदभाव के आरोपों को किया खारिज
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि बजट भाषण में हर राज्य का नाम लेना संभव नहीं है। उन्होंने महाराष्ट्र का उदाहरण देते हुए कहा कि वाधवान में एक बड़ा पोर्ट स्थापित करने का महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया है। सीतारमण ने कहा कि क्या महाराष्ट्र को नजरअंदाज किया गया क्योंकि उसका नाम नहीं लिया गया?'
विपक्ष गलतफहमी फैलाने की कोशिश कर रहा
सीतारमण ने विपक्ष के आरोपों को 'अपमानजनक' बताते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी जनता को जानबूझकर गुमराह कर रही है। 'मैं जिम्मेदारी से कह रही हूं कि यह विपक्षी दलों की एक 'जानबूझकर की गई कोशिश' है, जिससे जनता को गलत धारणा दी जा रही है कि उनके राज्यों को फंड या योजनाएं आवंटित नहीं की गईं।'
संसद परिसर में विपक्ष का विरोध प्रदर्शन
कांग्रेस संसदीय दल (Parliament Protest) की प्रमुख सोनिया गांधी और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी समेत कई सांसदों ने बुधवार को संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन किया। मकर द्वार की सीढ़ियों पर हुए इस प्रदर्शन में कांग्रेस, टीएमसी, समाजवादी पार्टी, डीएमके और वाम दलों के सांसदों ने भाग लिया।