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उत्तरकाशी की सिल्क्यारा टनल में 41 मजदूरों को फंसे आज 18 दिन हो गए है। उन्हें सुरंग से बाहर निकालने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे है। लेकिन, तकनीकी बाधाओं की वजह से उन तक पहुंचना मुश्किल हो रहा है।

Uttarkashi Tunnel Rescue:   उत्तरकाशी की सिल्क्यारा टनल में 41 मजदूरों को फंसे मंगलवार को 18 दिन हो गए है। उन्हें सुरंग से बाहर निकालने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे है। लेकिन, तकनीकी बाधाओं की वजह से उन तक पहुंचना मुश्किल हो रहा है। हालांकि, मजदूरों के लिए खाने- पीने का सामान छह इंच के पाइप के जरिए उन तक पहुंचाया जा रहा है। इसी बीच, मौसम विभाग ने उत्तराखंड में अगले 24 घंटों में बारिश और ओलावृष्टि की संभावना जताई है। अगर ऐसा हुआ तो रेस्क्यू ऑपरेशन टीम की मुश्किलें बढ़ सकती है।

दरअसल, यहां 12 नवंबर से 41 जिंदगियां सुरंग के अंदर फंसी है। देश की जनता की नजर भी इस घटना पर बनी हुई है। सभी देशवासी उनके सुरक्षित बाहर निकलने के लिए प्रार्थना कर रहे हैं। इसी बीच सोमवार को पीएम मोदी ने भी देश की जनता से मजदूरों के सुरक्षित बाहर निकालने के लिए प्रार्थना करने की अपील की है। पीएम ने कहा कि सरकार मजदूरों को बाहर निकालने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है। सोमवार की दोपहर टनल में रेस्क्यू ऑपरेशन का जायजा लेने पीएम मोदी के प्रमुख सचिव पीके मिश्रा, गृह सचिव अजय के भल्ला और उत्तराखंड के मुख्य सचिव एसएस संधू भी यहां पहुंचे थे। उन्होंने रेस्क्यू टीम से किए जा रहे रेस्क्यू ऑपरेशन को लेकर भी बात की।

 

 

वर्टिकल ड्रिलिंग से अभी तक हो चुकी है 50 मीटर खुदाई

खबरों की मानें तो मजदूरों तक सुरंग से पहुंचने के लिए करीब 86 मीटर की खुदाई की जानी है। रविवार से सुरंग की पहाड़ी के ऊपर से वर्टिकल ड्रिलिंग की जा रही है। अब तक केवल 50 मीटर की खुदाई हुई है। ऐसे में रेस्क्यू टीम को करीब 36 मीटर खुदाई और करनी है। जिसके लिए अभी समय लग सकता है। 

50 मीटर तक हो चुकी है खुदाई - माइक्रो टनलिंग विशेषज्ञ

माइक्रो टनलिंग विशेषज्ञ क्रिस कूपर ने बताया कि कल रात यह बहुत अच्छा हुआ। हम 50 मीटर की खुदाई पार कर चुके हैं। अब लगभग 5-6 मीटर जाना बाकी है। कल रात रेस्क्यू टीम के सामने कोई बाधा नहीं थी। इसलिए सकारात्मक परिणाम नजर आ रहे हैं। 

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