Sir Don Bradman World Record: क्रिकेट इतिहास के सबसे महान बल्लेबाजों में से एक डॉन ब्रैडमैन का एक ऐसा रिकॉर्ड है, जिसे अभी तक कोई तोड़ नहीं पाया। क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर भी इस रिकॉर्ड को नहीं छू पाए। यह रिकॉर्ड टेस्ट क्रिकेट में किसी एक टीम के खिलाफ सबसे ज्यादा शतक बनाने का है। ब्रैडमैन ने इंग्लैंड के खिलाफ 19 शतक बनाए हैं, यह किसी भी एक टीम के खिलाफ सबसे ज्यादा शतकों का वर्ल्ड रिकॉर्ड है। ब्रैडमैन ने इंग्लैंड के खिलाफ कुल 5028 रन बनाए थे।
सचिन तेंदुलकर को क्रिकेट का भगवान कहा जाता है, उनके नाम टेस्ट क्रिकेट में कई रिकॉर्ड हैं, लेकिन ब्रैडमैन के इस महारिकॉर्ड को वे कभी तोड़ नहीं सके। सचिन ने किसी एक टीम के खिलाफ सबसे ज्यादा 11 शतक लगाए, जो उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ बनाए थे। सुनील गावस्कर ने भी 13 शतक वेस्टइंडीज के खिलाफ बनाए थे, लेकिन वे भी इस रिकॉर्ड के आस-पास नहीं पहुंच पाए।
स्टीव स्मिथ से उम्मीद
अगर मौजूदा खिलाड़ियों की बात करें तो ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज स्टीव स्मिथ इस रिकॉर्ड को तोड़ने के सबसे करीब हैं। स्मिथ ने अब तक इंग्लैंड के खिलाफ 12 शतक लगाए हैं और उन्हें ब्रैडमैन के रिकॉर्ड को पार करने के लिए 8 शतकों की जरूरत है। स्मिथ की बल्लेबाजी का स्टाइल और उनका इंग्लैंड के खिलाफ अच्छा प्रदर्शन यह दिखाता है कि वे इस रिकॉर्ड को तोड़ सकते हैं।
कप्तानी कर चुके हैं स्मिथ
स्टीव स्मिथ (Steve Smith) को 2015 में ऑस्ट्रेलियाई टेस्ट टीम का कप्तान नियुक्त किया गया था। उनकी कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया ने कई महत्वपूर्ण सीरीज जीतीं, लेकिन 2018 में बॉल-टैम्परिंग विवाद के कारण उन्हें कप्तानी से हटा दिया गया और एक साल के लिए बैन कर दिया गया। इस घटना के बाद उन्होंने वापसी की और 2019 एशेज सीरीज में शानदार प्रदर्शन किया, जहां उन्होंने चार शतकों सहित 774 रन बनाए।
यह भी पढ़ें: पृथ्वी शॉ को अचानक टीम से निकाला गया, कोच बोले- पहले वजन कम करो फिर आना
रूट भी रेस में शामिल
स्टीव स्मिथ के अलावा इंग्लैंड के जो रूट भी इस रेस में शामिल हैं। रूट ने भारत के खिलाफ अब तक 10 शतक लगाए हैं, लेकिन उन्हें ब्रैडमैन का रिकॉर्ड तोड़ने के लिए लंबा सफर तय करना पड़ेगा।
क्यों खास है ब्रैडमैन का यह रिकॉर्ड?
ब्रैडमैन का रिकॉर्ड खास इसलिए है, क्योंकि उन्होंने मात्र 52 टेस्ट मैचों में 19 शतक लगाए थे, जो उनके 99.94 के टेस्ट औसत को भी दिखाता है। उनकी बल्लेबाजी का ये लेवल आज के समय में किसी भी खिलाड़ी के लिए चुनौतीपूर्ण है।