नई दिल्ली। सेंचुरियन टेस्ट में टीम इंडिया की शर्मनाक हार के बाद पूर्व दिग्गज भारतीय खिलाड़ियों को कोस रहे हैं। साउथ अफ्रीका ने महज 3 दिन में ही भारत को सेंचुरियन टेस्ट में पारी और 32 रन के अंतर से हराया। इस टेस्ट में शार्दुल ठाकुर को बॉलिंग ऑलराउंडर के तौर पर चुना गया था। लेकिन, शार्दुल गेंद और बल्ले दोनों से नाकाम रहे। उन्होंने सेंचुरियन टेस्ट में 101 रन देकर सिर्फ 1 विकेट ही हासिल किया। उन्होंने मैच में 5 रन प्रति ओवर लुटाए।
शार्दुल के इस फीके प्रदर्शन पर भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कोच रवि शास्त्री भड़क गए। उन्होंने यहां तक कह दिया कि शार्दुल बच्चा नहीं हैं, उसे चौथे पेसर के रूप में चुना गया था। सेंचुरियन टेस्ट में कॉमेंट्री कर रहे शास्त्री ने कहा,"भारत के गेंदबाजी आक्रमण में अनुभव की कमी है। उनके पास दो ऐसे पेसर हैं जो काफी अनुभवी हैं- बुमराह और सिराज। लेकिन, उन्हें मोहम्मद शमी की कमी खली। शार्दुल ठाकुर कोई बच्चा नहीं है, वह चौथा तेज गेंदबाज है। आपको तीसरे सीमर के रूप में अच्छे खिलाड़ी की जरूरत है। तीसरा तेज गेंदबाज विदेशों में बड़ा अंतर पैदा करता है।"
तो फिर तीसरा पेसर कौन हो सकता है? मुकेश कुमार अभी नए हैं। टीम इंडिया ईशांत शर्मा और उमेश यादव से आगे निकल चुकी है। मार्क निकोल्स जो शास्त्री के साथ सेंचुरियन टेस्ट में कॉमेंट्री कर रहे थे, उन्होंने तीसरे पेसर के रूप में अर्शदीप सिंह का नाम सुझाया। लेकिन, शास्त्री ने ये बात उठाई कि क्या अर्शदीप टेस्ट फॉर्मेट में गेंदबाजी के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि अर्शदीप सिंह ने जोहानिसबर्ग में 5 विकेट लेकर, उसके बाद पार्ल में 4 विकेट भी झटके थे। वो बाएं हाथ के बॉलर हैं तो वेरिएशन लाते हैं। लेकिन सवाल ये है कि वो टेस्ट क्रिकेट में गेंदबाजी के लिए तैयार हैं? क्या उन्होंने पर्याप्त रणजी मैच खेले हैं। मैं चाहता हूं कि वो पहले रणजी और फर्स्ट क्लास मैच खेलें.