कोरबा। छत्तीसगढ़ के तत्कालीन कैबिनेट मंत्री डॉ.शिव डहरिया का खुद का निजी सचिव होना बताकर एक व्यक्ति ने नौकरी लगवाने की आड़ में ठगी को अंजाम दिया है। शिकायत के बाद पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और आरोपी की तलाश में जुट गई है।
मिली जानकारी के अनुसार, कोरबा निवासी 60 वर्षीय टीकाराम श्रीवास की बेटी सरिता श्रीवास उम्र 27 वर्ष की नौकरी लगवाने के नाम पर ठगा गया। सरिता श्रीवास ने 2020 में स्टाफ नर्स भर्ती परीक्षा 2020 में फार्म भरा था। दरअसल, पीड़ित का परिचय बांगो में समाज के गुरु मधुरदास वैष्णव के घर में प्रकाश वैष्णव निवासी पलारी से हुआ था। बेटी की नौकरी को लेकर चर्चा के बाद प्रकाश वैष्णव पिता कृष्णा वैष्णव (35) पलारी, जिला बलौदाबाजार ने अपना परिचय बताते हुए कहा था कि, मैं शिव डहरिया का निजी सचिव हूं। मैं तुम्हारी बेटी सरिता की नौकरी लगवा दूंगा। इसके लिए दो लाख रुपए लगेगा। प्रकाश वैष्णव की बातों पर विश्वास करके 28 अगस्त 2020 को 50 हजार रुपए नगद दे दिया। 4 सितंबर 2020 को प्रकाश अपने दोस्त ईश्वर दास के साथ आया और बोला मंत्री जी का पैसा देना है और एक लाख पचास हजार रुपए ले लिया।
जब नौकरी की बात पूछी तो करने लगा टालमटोल
काफी समय बीत जाने के बाद जब प्रकाश से नौकरी के बारे में पूछा तो वह टाल-मटोल करने लगा। प्रकाश को खोजते हुए उसके घर गया और पैसा वापस करने के लिए कहने पर उसने कहा कि, मेरे पास अभी पैसे नहीं है। आपके भांचा बालाराम सेन के नाम से पचास हजार का चेक दे रहा हूं, कहकर एक चेक दिया और बाकी पैसे बाद में देने का वादा किया।
ऐसे हुआ धोखाधड़ी का खुलासा
पीड़ित को पता चला कि, प्रकाश वैष्णव ने बलदाउ पुरी गोस्वामी से भी नौकरी लगवाने के लिए पैसे लिए थे। जब पीड़ित ने बलदाउ से चर्चा की तो धोखाधड़ी का खुलासा हुआ। फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच में जुट गई है।