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Delhi Winter Action Plan: दिल्ली सरकार में मंत्री गोपाल राय ने दिल्ली को प्रदूषण से बचाने के लिए विंटर एक्शन प्लान रखा। जिस पर विपक्ष खूब हमलावर हो रहा है।

Delhi Winter Action Plan: दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर प्रदूषण से निपटने के लिए विंटर एक्शन प्लान बताया है। उन्होंने 21 सूत्रीय प्लान बताते हुए दावा किया कि हम प्रदूषण से निपटने के लिए हर स्तर पर तैयार हैं। इस पर विपक्ष खूब हमलावर हो रहा है। विपक्ष ने गोपाल राय के दावे को महज बयानबाजी बताया है, जिसका असर जमीनी स्तर पर नहीं दिखता है। चलिए बताते हैं विपक्ष ने क्या कहा है।  

खोखले दावे कर रहे हैं गोपाल राय- सचदेवा

दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा ने बुधवार को कहा है कि पराली निस्संदेह विंटर प्रदूषण का सबसे बड़ा कारण है, पर साथ ही दिल्ली की सड़कों के किनारे की धूल एवं कंस्ट्रक्शन साइट की धूल मिट्टी भी विंटर प्रदूषण बढ़ने के दो बड़े कारण हैं और इन पर भी मंत्री गोपाल राय केवल खोखले झूठे दावे कर रहे हैं। यह खेदपूर्ण है कि दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय गंभीर प्रदूषण रोधी कदम उठाने की जगह केवल घोषणाएं करते रहते हैं। विडम्बना है कि गोपाल राय एक ओर दिल्ली में प्रदूषण स्थिति में सुधार का दावा कर रहे हैं पर उसी ब्यान के साथ 1 नवम्बर से प्रदूषण स्थिति गंभीर होने की चेतावनी भी दे रहे हैं।

'पंजाब सरकार से क्यों नहीं की बात'

सचदेवा ने कहा कि गत डेढ़ माह से दिल्ली भाजपा मंत्री गोपाल राय से विंटर प्रदूषण पर सर्वदलीय बैठक बुला कर यह बताने की मांग करती रही है कि उन्होंने पंजाब सरकार के साथ मिलकर पराली जलाने से रोकने के क्या उपाय किए हैं पर वह कोई सीधा जवाब नहीं दे रहे हैं, केवल पत्रबाजी एवं बयानबाजी कर रहे हैं। ऐसा लगता है कि दिल्ली में राजनीतिक दाव पेंचों में फंसे गोपाल राय ने आज तक पंजाब सरकार से पराली की समस्या पर बात ही नहीं की है।

अपनी नाकामी को एनसीआर के सिर मढ़ रहे राय- यादव

दिल्ली प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष देवेंद्र यादव ने आरोप लगाए है कि प्रदूषण से निपटने में नाकाम रहने पर आप सरकार की नाकामी को पर्यावरण मंत्री गोपाल राय एनसीआर क्षेत्रों के सिर मढ़ रहे है जो उनकी पुरानी आदत है। उन्होंने आरोप लगाए कि दिल्ली की जनता से जुड़े अधिकांश विषयों पर बुरी तरह विफल होने से साबित हो चुका है कि इन्हें सरकार चलानी ही नहीं आती। यादव ने कहा कि दिल्ली में पिछले 2 दिनों प्रदूषण का स्तर खतरनाक स्तर के साथ पीएम 2.5 का स्तर 400 के पार पहुंच गया है। दिल्ली सरकार की नाकामी के कारण सितंबर में नवंबर-दिसम्बर जैसे हालात हो गए है।

'सिर्फ 29 फीसदी पैसे किए खर्च'

गोपाल राय प्रदूषण नियंत्रण के लिए सरकार की भूमिका पर बात न करके केन्द्र सरकार, नजदीक राज्यों की प्रदूषण में भागीदारी बात करते है। परंतु पंजाब में जलाई जा रही पराली पर चुप क्यों हैं। जब गोपाल राय प्रदूषण नियंत्रण के लिए मिले 742.69 करोड़ में से सिर्फ 29 प्रतिशत ही खर्च कर पाए, फिर इस वर्ष आगामी महीनों कैसे प्रदूषण नियंत्रण करने का दावा कर रहे हैं। गोपाल राय ने सरकार की प्रदूषण नियंत्रण में नाकामी का ही कारण था कि उन्होंने कांग्रेस पार्टी को पत्र लिखकर प्रदूषण नियंत्रण के लिए सलाह मांगी थी। 

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