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मध्यप्रदेश सरकार के मंत्रालय वल्लभ भवन में 9 मार्च को लगी भीषण आग की जांच रिपोर्ट कमेटी ने सौंप दी है। सामान्य प्रशासन विभाग की प्रमुख सचिव को सौंपी रिपोर्ट में कमेटी ने लोक निर्माण विभाग (PWD) के फायर टेंडर व्यवस्था को आगजनी का जिम्मेदार ठहराया है।

भोपाल। भोपाल के मंत्रालय वल्लभ भवन में लगी भीषण आग की जांच रिपोर्ट कमेटी ने सौंप दी है। कमेटी ने शॉर्ट सर्किट से उठी चिंगारी को आग का कारण बताया है। सामान्य प्रशासन विभाग (GAD) के प्रमुख सचिव मनीष रस्तोगी को सौंपी रिपोर्ट में कमेटी ने हादसे के लिए लोक निर्माण विभाग (PWD) के फायर टेंडर व्यवस्था को जिम्मेदार ठहराया है। समिति ने रिपोर्ट में कहा, 'घटना के बाद फायर टीम मौके पर पहुंच तो गई थी, लेकिन उसकी कार्यप्रणाली बेहतर नहीं थी। जिसकी वजह से आग भड़क गई। भवन में लूज वायरिंग, समय पर रखरखाव नहीं होने से ऐसी स्थिति बनी। इसकी जिम्मेदारी PWD अफसरों की थी।

9 मार्च को लगी थी आग, मंत्रियों के जल गए थे चैंबर 
बता दें कि 9 मार्च को सुबह 9.30 बजे वल्लभ भवन की तीसरी मंजिल में आग लगी। तेजी से फैली फैलती चली गई। चौथे और पांचवें माले तक पहुंच गई। 4 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद किसी तरह आग पर काबू पाया गया था। भीषण आग में पांचवीं मंजिल पर बने मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल, राधा सिंह,  प्रतिमा बागरी और दिलीप अहिरवार के चैंबर आग से नष्ट हो गए थे। आग क्यों लगी? जिम्मेदार कौन है? जांच के लिए सरकार ने 7 सदस्यीय कमेटी बनाई है। अभी प्रारंभिक जांच रिपोर्ट सामने आई है।

अब नष्ट सामान की रिपोर्ट तैयार की जा रही है
जांच कमेटी ने आग लगने के कारण तलाशने के लिए पीडब्ल्यूडी, अग्निशमन विभाग, सुरक्षा विभाग, जीएडी (अधीक्षण) से अलग-अलग रिपोर्ट ली। इन सभी के विश्लेषण के बाद अंतरिम रिपोर्ट जारी की है। जांच के दौरान यह भी पता चला है कि हादसे के बाद नुकसान के आकलन के लिए ऑफसेट वैल्यू तय करने GAD ने दल गठित किया है। अब नष्ट सामान की रिपोर्ट तैयार की जा रही है। प्रमुख सचिव, जीएडी मनीष रस्तोगी खुद इसकी मॉनिटरिंग कर रहे हैं। जांच कमेटी की फाइनल रिपोर्ट 15 दिन में आएगी। 

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