Mohan Bhagwat On Manipur: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत ने गुरुवार को पुणे में एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि लोगों को अपने काम से तय करना चाहिए कि वह भगवान जैसे बने हैं या नहीं। संघ प्रमुख ने कहा कि कोई भी खुद को भगवान न कहे। मोहन भागवत ने शंकर दिनकर काने की 100वीं जयंती के मौके पर आयोजित कार्यक्रम में यह बात कही। संघ प्रमुख ने कहा कि हमें अच्छे काम करने चाहिए, ताकि हम सम्मानित बन सकें। हालांकि हम अच्छे बनें या नहीं इसका फैसला दूसरों को करने देना चाहिए।
मणिपुर की सुरक्षा पर जताई चिंता
मणिपुर के मौजूदा हालत पर बोलते हुए भागवत ने कहा कि मणिपुर में सुरक्षा की कोई गारंटी नहीं है। संघ के स्वयंसेवक नॉर्थ-ईस्ट के इस हिंसाग्रस्त राज्य में कठिनाइयों के बावजूद डटे हुए हैं। भागवत ने कहा कि मणिपुर में सुरक्षा को लेकर स्थानीय लोगों में चिंता है। मणिपुर में व्यापार या सामाजिक सेवा के लिए गए लोगों के लिए स्थिति और भी चुनौतीपूर्ण है।
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मणिपुर में राष्ट्रीय एकता के लिए काम कर रहे संघ के कार्यकर्ता
भागवत ने कहा कि संघ के कार्यकर्ता मणिपुर में कुकी और मैतेई दोनों पक्षों के बीच सामान्य स्थिति बहाल करने की कोशिशों में जुटे हैं।संघ ने न तो वहां से भागने का फैसला किया और न ही निष्क्रिय होकर बैठा है। संघ के स्वयंसेवक मणिपुर में लोगों की नाराजगी कम करने, जन जीवन को सामान्य बनाने और राष्ट्रीय एकता की भावना बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं। यही वजह है कि संघ ने स्थानीय लोगों का विश्वास जीतने में सफल रहा है।
NGO से नहीं सुलझ सकता मणिपुर का मुद्दा: भागवत
भागवत ने कहा कि मणिपुर की स्थिति को NGOs अकेले नहीं संभाल सकते। संघ मणिपुर में स्थिति सुधारने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है और सभी पक्षों से बातचीत कर रहा है। संघ के कार्यकर्ताओं ने स्थानीय लोगों का विश्वास जीत लिया है, और लोग उनके काम से परिचित हैं। इसलिए वे संघ पर भरोसा करते हैं और उसे अपनी समस्याओं का समाधान मानते हैं।
भारत के सपने को पूरा करने में लगेगा दो पीढ़ियों का समय
मोहन भागवत ने कहा कि भारत के उत्थान से ईर्ष्या रखने वाले कई लोग हमारे रास्ते में बाधाएं खड़ी करेंगे, लेकिन हमें आगे बढ़ते रहना होगा। उन्होंने बताया कि लगभग 40 साल पहले स्थिति और भी बदतर थी, लेकिन संघ के कार्यकर्ताओं ने मणिपुर में डटे रहकर बदलाव लाने का काम किया। संघ के प्रचारक और कार्यकर्ता लगातार मणिपुर आते-जाते रहे हैं और उन्होंने स्थानीय समाज का हिस्सा बनकर बदलाव की दिशा में काम किया।
संघ के कार्यकर्ताओं का मणिपुर में गहरा प्रभाव
भागवत ने कहा कि संघ के प्रयासों ने मणिपुर में स्थिरता और शांति कायम करने में अहम भूमिका निभाई है। संघ के कार्यकर्ता मणिपुर के स्थानीय समुदायों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत का सपना पूरा करने में दो और पीढ़ियों का समय लगेगा। हालांकि, संघ इसके लिए लगातार कोशिश करता रहेगा। भगवान