BJP Leaders on AAP: दिल्ली विधानसभा सत्र का आज दूसरा दिन बेहद हंगामे भरा रहा। एक तरफ सदन में सीएम ने सीएजी रिपोर्ट सदन में पेश की, तो वहीं आतिशी आम आदमी पार्टी के विधायकों के साथ प्रदर्शन पर रहीं। प्रदर्शन की वजह ये थी कि भाजपा नेताओं ने अपने कार्यालय से बाबा साहेब भीम राव अंबेडकर और शहीद-ए-आजम भगत सिंह की तस्वीर हटा दी। हालांकि भाजपा ने कहा कि विपक्ष का ये रवैया गलत है।
पता था सीएजी रिपोर्ट पेश होगी इसलिए माहौल बना रहे थे- प्रवेश वर्मा
पीडब्ल्यूडी मंत्री प्रवेश वर्मा ने कहा कि आम आदमी पार्टी को पता था कि आज विधानसभा सदन में सीएजी रिपोर्ट को पेश किया जाएगा। इसी वजह से उन्होंने कल से ही माहौल बनाना शुरू कर दिया था। उन्होंने कल से ही डॉ. बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर और भगत सिंह की तस्वीरें हटाने का मुद्दा उठाया था, जो बिल्कुल गलत मुद्दा बना रहे थे ऐसा कोई मुद्दा नहीं था, ये सारी अफवाहें थीं। वहीं आज सदन में सीएजी रिपोर्ट पेश की गई हैं, जिनमें 2002 करोड़ रुपए का भ्रष्टाचार किया गया है। पटल पर वो रिपोर्ट्स रख दी गई हैं और हम उन्हें पढ़कर कल उस पर चर्चा करेंगे।
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शराब घोटाले पर सीएजी रिपोर्ट को लेकर बोले मनजिंदर सिंह सिरसा
वहीं सीएजी रिपोर्ट्स में हुए घोटाले को लेकर दिल्ली के मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि 'आप-दा वाले जब पक्ष में थे, तब भी ड्रामा करते थे और अब विपक्ष में हैं, तब भी ड्रामा कर रहे हैं। आज इन लोगों को पता था कि ये लोग ईमानदारी का जो चोला पहने खड़े हैं, पिछले 10 सालों से इस चोले पर इतने दाग थे कि वो सफेद चोला काले रंग का हो गया है। इसके बावजूद भी ये लोग भांप नहीं पाए कि दिल्ली के लोगों ने करप्शन के कारण ही इन्हें सत्ता से बाहर निकाला है।'
उन्होंने आगे कहा कि इन लोगों ने शराब घोटाला करने के लिए नए-नए तरीके निकाले। आज ये लोग शहीद-ए-आजम और बाबा साहेब अंबेडकर की फोटो को लेकर मुद्दा बना रहे हैं। आतिशी बाहर बाबा साहेब की फोटो पैरों में रखकर बैठी हैं। ये लोग फोटो को लेकर केवल इसलिए मुद्दा बना रहे हैं, ताकि ये शराब घोटाले के आरोप से बच सकें। इनका मकसद है कि सीएजी रिपोर्ट से मीडिया अटेंशन हटाया जा सके, जिसके कारण इन्होंने ऐसा किया।
पहले सिर्फ हम कहते थे लेकिन अब सीएजी रिपोर्ट ने भी कह दिया है कि शराब पॉलिसी आने से पहले यहां केवल 101 लोग शराब का कारोबार करते थे। इसके बाद 10 लोगों को कम करके केवल 14 लोगों को शराब का काम दिया गया। इन 14 में से सिर्फ तीन लोगों के पास ही दिल्ली का 71 फीसदी शराब का काम था। इन तीन लोगों में से दो लोग केजरीवाल के साथ जेल में थे।
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