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दिल्ली सरकार ने प्रदूषण की जांच करने वाले उन पीयूसी केंद्रों पर कार्रवाई करने की तैयारी कर रही है। जिन्होंने प्रदूषण जांच की दरों में वृद्धि पर असंतोष व्यक्त करते हुए अपने पीयूसीसी केंद्र बंद कर दिए हैं।

PUC Testing Centre In Delhi: 11 जुलाई को दिल्ली सरकार ने वाहनों की प्रदूषण की जांच की दरों में वृद्धि की घोषणा की। इस घोषणा के बाद से दिल्ली में पेट्रोल पंपों पर स्थित 600 पीयूसी सेंटर बंद पड़े हैं। पीयूसी केंद्र संचालक दिल्ली सरकार द्वारा बढ़ाई गई दरों में और अधिक वृद्धि की मांग कर रहे हैं। इसके विरोध में ही वह हड़ताल पर हैं। इसको लेकर दिल्ली सरकार ने भी अपनी तैयारी शुरू कर दी है।

पेट्रोल पंप मालिकों के खिलाफ होगी कार्रवाई

पीयूसी केंद्र संचालकों का कहना है कि खर्च और कर्मचारियों के वेतन बढ़ोतरी को देखते हुए मौजूदा बढ़ोतरी नाकाफी है। पीयूसी केंद्र बंद होने से वाहन चालकों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा रहा है। ऐसे में अब दिल्ली सरकार पेट्रोल पंप मालिकों के खिलाफ कार्रवाई करना का विचार कर रही है।

दिल्ली सरकार कर रही यह तैयारी

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिल्ली सरकार उन पीयूसी केंद्र संचालकों के खिलाफ कार्रवाई करने का विचार कर रही है, जो प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र (पीयूसीसी) केंद्र बंद कर असंतोष व्यक्त कर रहे हैं। परिवहन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पेट्रोल पंप स्टेशनों की एक सूची तैयार की जा रही है। इसके साथ ही असंतोष व्यक्त कर रहे पीयूसी केंद्रों का संचालन भी निलंबित करने पर विचार किया जा रहा है। इस संबंध में रिपोर्ट तैयार की जा रही और इसके बाद परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत के साथ चर्चा के बाद फैसला लिया जाएगा। इसके अलावा नए पीयूसी केंद्र खोलने पर भी विचार किया जा रहा है।

PUC केंद्र संचालकों की ये मांग

PUC केंद्र संचालकों का कहना है कि केंद्र के संचालन का खर्च और कर्मचारियों के वेतन बढ़ोतरी को देखते हुए मौजूदा बढ़ोतरी नाकाफी है, क्योंकि सरकार द्वारा 13 साल बाद 35 प्रतिशत तक की यह बढ़ोतरी करने का ऐलान हुआ है। उनका कहना है कि पीयूसी केंद्र के संचालन में खर्च कई गुना बढ़ गए हैं। ऐसे में पीयूसी जांच के लिए दाम और अधिक बढ़ाने चाहिए।

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