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हरियाणा के रेवाड़ी में नाबालिग का अपहरण कर दुष्कर्म करने के मामले में अदालत ने दोषी को 10 साल कैद व 29 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना न भरने की सूरत में दोषी को अतिरिक्त कैद की सजा भुगतनी होगी।

रेवाड़ी: फास्ट ट्रैक कोर्ट के अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश लोकेश गुप्ता की अदालत ने एक नाबालिग का अपहरण करने व दुष्कर्म करने के मामले में आरोपी को दोषी करार दिया। अदालत ने दोषी को 10 साल कठोर कारावास की सजा सुनाई। साथ ही 29 हजार रुपए जुर्माना लगाया गया। जुर्माना राशि जमा न करवाने पर दोषी को 10 माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।

गांव के बाहर किया दुष्कर्म

पुलिस को दी शिकायत में थाना जाटूसाना क्षेत्र के रहने वाले एक व्यक्ति ने बताया कि 20 अप्रैल 2020 की शाम को वह अपने परिवार के साथ खेत में फसल निकालने के लिए गया हुआ था। इस दौरान उनकी नाबालिग बेटी घर पर अकेली थी। पीछे से उनके पड़ोस के गांव का रहने वाला एक युवक उनकी बेटी को बहला फुसलाकर अपने साथ ले गया। आरोपी ने उसकी बेटी से दुष्कर्म किया और अगले दिन उसकी बेटी को बदहवास हालत में गांव के निकट छोड़कर फरार हो गया। बेटी के घर पहुंचने पर परिवार को घटना के बारे में पता लगा।

पीड़िता के पिता ने दर्ज करवाया था केस

पीड़िता के पिता की शिकायत पर पुलिस ने आरोपी के खिलाफ थाना जाटूसाना में अपहरण व पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज करके जांच शुरू की थी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। जांच के बाद पुलिस ने आरोपी के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की और साक्ष्य पेश किए, जिस पर फास्ट ट्रैक कोर्ट के एएसजे लोकेश गुप्ता ने आरोपी को दोषी करार देते हुए 10 साल कैद व 29 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना न भरने पर दोषी को 10 महीने की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।

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