Kishore Samrite: मध्य प्रदेश के पूर्व विधायक किशोर समरीते को संसद भवन उड़ाने की धमकी देने के मामले में दोषी पाया गया है। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने उन्हें भारतीय दंड संहिता की धारा 506 (भाग II) के तहत दोषी करार दिया है। इस मामले में उन्हें सात वर्ष की सजा हो सकती है। हालांकि, सजा का निर्धारण 27 फरवरी 2025 को होने वाली अगली सुनवाई किया जाएगा।
राज्यसभा को लिखा था चेतावनी भरा पत्र
किशोर समरीते एमपी के बालाघाट जिले में लांजी विधानसभा क्षेत्र से विधायक थे। 16 सितंबर 2022 को उन्होंने राज्यसभा के महासचिव को चेतावनी भरा पत्र लिखा था। इस पत्र में उन्होंने कुछ मांगें रखते हुए चेताया था कि उनकी मांगें पूरी न की गईं तो वह 30 सितंबर 2022 को संसद भवन को डायनामाइट से उड़ा देंगे।
पत्र के साथ भेजा संदिग्ध पदार्थ
किशोर समरीते ने अपने इस पत्र के साथ संदिग्ध पदार्थ भी भेजा था। हालांकि जांच में उसे हानिरहित पाया गया है। इस घटना के बाद सितंबर 2022 में उन्हें भोपाल स्थित निवास से गिरफ्तार किया गया था। उनके खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज कर कोर्ट में चालान पेश किया गया।
27 फरवरी को सुनाई जाएगी सजा
दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने मामले की सुनवाई करते हुए पूर्व विधायक समरीते को विस्फोटक पदार्थ अधिनियम की धाराओं के तहत आरोपों से बरी कर दिया, लेकिन धमकी भरा पत्र लिखने के मामले में उन्हें धारा 506 (भाग II) के तहत दोषी माना गया है। देखना है कि कोर्ट इस मामले में उन्हें क्या सजा सुनाती है। 27 फरवरी 2025 को मामले में सुनवाई होगी।